Sansar Daily Current Affairs, 08 July 2018
GS Paper 1 Source: The Hindu
Topic : WORLD SANSKRIT CONFERENCE
- कनाडा के वैंकूवर में ब्रिटिश कोलंबिया विश्वविद्यालय में एशियाई अध्ययन विभाग द्वारा विश्व संस्कृत सम्मेलन 2018 का 17वाँ सम्मलेन आयोजित किया गया.
- विश्व संस्कृत सम्मेलन संस्कृत भाषा एवं साहित्य तथा पूर्व-आधुनिक दक्षिण एशिया के इतिहास, धर्म और कला के पेशेवर शोधकर्ताओं एवं शिक्षकों के लिए एक प्रमुख अंतर्राष्ट्रीय मंच है.
- यह सम्मलेन हर तीन साल में अंतर्राष्ट्रीय संस्कृत अध्ययन संघ (International Association of Sanskrit Studies) द्वारा आयोजित किया जाता है.
- 1973 में पेरिस में आयोजित अंतर्राष्ट्रीय प्राच्यविद् कांग्रेस की 29वीं बैठक में विभिन्न देशों के संस्कृतवेत्ताओं ने संस्कृत अध्ययन के लिए एक अंतर्राष्ट्रीय संघ के गठन का समर्थन किया था और इसके लिए संविधान का एक प्रारुप तैयार किया.
- IASS का मुख्य कार्य दुनिया भर के विभिन्न स्थानों पर विश्व संस्कृत सम्मेलन का आयोजन करना है.
- नई दिल्ली में 1972 में आयोजित अंतर्राष्ट्रीय संस्कृत सम्मेलन को प्रथम विश्व संस्कृत सम्मेलन के रूप में मान्यता दी गई.
- IASS के द्वारा Indologica Taurinensia नाम की पत्रिका निकाली जाती है.
GS Paper 2 Source: The Hindu
Topic : Simultaneous elections
- भारत के विधि आयोग के साथ परामर्श के क्रम में 9 राजनैतिक दलों ने लोक सभा और विधान सभाओं के चुनाव को एक साथ करने पर असहमति जताई है जबकि 4 दलों ने इसका समर्थन किया है.
- 1952 के प्रथम आम चुनाव के बाद से लगातार 1967 तक के लोक सभा और राज्यों की विधानसभाओं के चुनाव एक ही साथ होते थे.
- 1968 में केंद्र सरकार ने कुछ राज्यों की विधानसभाओं को भंग कर दिया था और 1969 में लोकसभा को भंग कर दिया गया था.
- ज्ञातव्य है 1967 के बाद 1972 में चुनाव होने वाले थे पर लोक सभा का चुनाव 1971 में ही आयोजित कर दिया गया. इससे सारी चुनावी परिपाटी ध्वस्त हो गयी और इन चुनावों का एक साथ होना बंद हो गया.
एक साथ चुनाव (Simultaneous elections) अच्छा क्यों है?
- इससे सरकारी खर्च में बचत में होगी.
- इसमें चुनाव के समय सुरक्षा बलों और चुनावकर्मियों को बार-बार नियुक्त नहीं करना पड़ेगा.
- जब भी चुनाव होते हैं तो आचारसहिंता लागू हो जाती है जिसके तहत चुनाव के समय किसी भी योजना की घोषणा सरकार नहीं कर पाती है. इससे सरकारी कार्य बाधित होता रहता है.
विधि आयोग क्या है?
- विधि आयोग सरकार द्वारा गठित एक कार्यकारी निकाय है.
- इसका मुख्य कार्य कानून में सुधार करना है.
- इसके सदस्य मुख्य रूप से कानून के विशेषज्ञ होते हैं.
- इस आयोग का गठन हर तीन साल पर नए सिरे से किया जाता है.
- यह विधि एवं न्याय मंत्रालय के अंतर्गत एक सलाहकार निकाय के रूप में कार्य करता है.
- इसका सबसे पहले गठन 1834 में चार्टर कानून अधिनियम 1833 के अंतर्गत हुआ था.
- भारत के स्वतंत्र होने के पहले अंग्रेजों के समय में ऐसे तीन और आयोग गठित हुए थे.
- स्वतंत्र भारत का पहला विधि आयोग 1955 में गठित हुआ था.
GS Paper 3 Source: The Hindu
Topic : Formalin
- चेन्नई में मछलियों की जाँच में पहली बार Formalin पॉजिटिव आया है.
- Formalin एक रंगहीन विषाक्त रसायन है जो पानी में formaldehyde gas के घुलने से बनता है.
- यह एक कैंसरकारी रसायन है जिसका प्रयोग मछलियों को संरक्षित (preserve) करने में किया जाता है.
- इसका प्रयोग कीटनाशक, उर्वरक, गोंद, कागज और पेंट के निर्माण में भी किया जाता है.
- Formalin से आँखों, गले, त्वचा और पेट में जलन होती है.
- इसके दीर्घकालिक प्रयोग से गुर्दे, यकृत को भी नुकसान पहुँचता है और यहां तक कि कैंसर भी हो सकता है.
- Formaldehyde gas ज्वलनशील भी है अर्थात् आग से संपर्क होने पर यह खतरे का कारण भी बन सकता है.
GS Paper 3 Source: The Hindu
Topic : Currency Derivatives
- मल्टी कमोडिटी एक्सचेंज ऑफ इंडिया (MCX) मुद्रा डेरिवेटिव सेगमेंट में प्रवेश करने की योजना बना रहा है.
- ज्ञातव्य है कि MCX देश का सबसे बड़ा कमोडिटी बाजार है.
- Currency derivatives विनिमय पर आधारित वे वायदे हैं जिनका प्रयोग मुद्रा बाजार में उतार-चढ़ाव के दुष्प्रभाव से बचने के लिए किया जाता है.
- सरल भाषा में कहा जाए तो मुद्रा वायदे का उपयोग एक मुद्रा को दूसरी मुद्रा में बदलने में उस दर पर किया जाता है जो दर वायदे की खरीद के दिन होती है.
- भारत में मुद्रा वायदे का उपयोग डॉलर, यूरो, पौंड एवं येन के उतार-चढ़ाव से सुरक्षित होने के लिए किया जाता है.
- इस तरह की सुरक्षा की आवश्यकता अधिकतर उन कंपनियों को होती है जो बहुत अधिक आयात-निर्यात का काम करती हैं.
- हाल ही में SEBI ने cross currency वायदों के लिए भी अनुमति प्रदान कर दी है जैसे यूरो-डॉलर, पौंड-डॉलर, डॉलर-येन.
GS Paper 3 Source: The Hindu
Topic : RAMA (Reconstituting Asteroids into Mechanical Automata)
- RAMA क्षुद्र ग्रहों की दिशा को पृथ्वी पर आने से रोकने के लिए उनकी दिशा को बदलने हेतु निर्मित एक अन्तरिक्षीय परियोजना है जिसके लिए NASA निधि मुहैया करा रहा है.
- इस परियोजना का उद्देश्य क्षुद्रग्रहों तक पहुँच सकने वाले यान को प्रक्षेपित कर क्षुद्रग्रहों के खंडों को तकनीकी रूप से सरल रोबोटिक प्रक्रिया से छोटे-छोटे अन्तरिक्षयान प्रणाली के रूप में बदलना है.
- यदि यह योजना सफल हुई तो पृथ्वी की ओर आने वाले किसी क्षुद्रग्रह की दिशा को बदलकर उसे अन्तरिक्ष के उस सुदूर भाग में भेजा जा सकता है जहाँ से मनुष्य को कोई खतरा न हो.
- भविष्य में NASA इस कार्यक्रम (RAMA) का उपयोग सौर प्रणाली की खोज में कर सकता है.
GS Paper 3 Source: The Hindu
Topic : Kepler space telescope
- नासा के वैज्ञानिक प्लांट-हंटिंग केपलर अन्तरिक्ष दूरबीन में संगृहीत नवीनतम आँकड़ों को डाउनलोड करने की तैयारी कर रहे हैं.
- ऐसा इसलिए किया जा रहा है कि यह इस अंतरीक्ष-यान में ईंधन समाप्ति की ओर है.
- वर्तमान में NASA ने इस यान को no-fuel-use safe mode में डाल रखा है जिससे कि आँकड़ों को शीघ्र-से-शीघ्र डाउनलोड किया जा सके.
- Kepler – एक अंतरिक्ष यान (spacecraft) का नाम है जिसमें एक शक्तिशाली telescope लगा हुआ है.
- इस telescope को सौरमंडल से बाहर स्थित ग्रहों को खोजने के लिए बनाया गया है.
- इसका नाम जोहान्स केप्लर के नाम पर रखा गया है जो स्वयं एक प्रसिद्ध जर्मन गणितज्ञ और खगोलविद् थे.
- Kepler mission को 2009 में launch किया गया था.
- इस मिशन का उद्देश्य हमारी निकटस्थ आकाशगंगा में सैंकड़ों पृथ्वी के आकार एवं उससे छोटे ग्रहों की खोज करना और आकाशगंगा में स्थित खरबों तारों के एक छोटे हिस्से का पता लगाना है जिनमें निवास-योग्य ग्रह हो सकते हैं.
Prelims Vishesh
Civil Aviation Research Organization at Begumpet Airport, Hyderabad
क्या? सरकार संचालित हवाई अड्डा प्राधिकरण (AAI) एक नागरिक उड्डयन अनुसंधान संगठन (CARO) स्थापित करेगा.
कहाँ? CARO बेगमपेट हवाई अड्डे, हैदराबाद में स्थापित किया जाएगा.
क्यों? बढ़ते हुए हवाई-यातायात समस्याओं के समाधान के लिए.
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3 Comments on “Sansar डेली करंट अफेयर्स, 08 July 2018”
Sir Thanks a lot
Thanks sansarlochan ,current affairs daily bhejte rhe
sir sorry to say lakin jaroori hai aap ye bhi bta deya kejeye ye conference kis minister ke dwara keya gaya or ye kis ministery ke under me aata h aise aapka article kafi sandar rhta h iske leye many many thanku